नौसिखिया निवेशक के लिए एक गाइड

फाइनेंस कितने प्रकार का होता है

फाइनेंस कितने प्रकार का होता है

होम लोन का प्रोसेस

होम लोन प्राप्त करने की चरण-दर-चरण प्रक्रिया क्या है?

होम लोन प्राप्त करने की चरण-दर-चरण प्रक्रिया क्या है?

होम लोन की स्वीकृति में कई चरण शामिल हैं. आप डॉक्यूमेंट अप्लाई करके और सबमिट करके, सत्यापन के लिए प्रतीक्षा करें, स्वीकृति पत्र प्राप्त करें, इसे साइन करें और सुरक्षित शुल्क का भुगतान करें, अपनी प्रॉपर्टी की तकनीकी जांच की प्रतीक्षा करें और फिर अपने बैंक अकाउंट में लोन राशि प्राप्त करने से पहले अंतिम लोन एग्रीमेंट पर हस्ताक्षर करें.

चरण-दर-चरण विस्तृत प्रक्रिया

जबकि होम लोन प्रोसेस में कई चरणों शामिल हैं, वहीं उन्हें तेज़ी से लिया जाता है, और आप बजाज फिनसर्व से केवल 3 दिनों तक अपना लोन प्राप्त कर सकते हैं.

अधिक जानकारी के चरण यहां दिए गए हैं.

चरण 1 एप्लीकेशन
पहला चरण आपका नाम, फोन नंबर, पिन कोड, रोजगार का प्रकार आदि जैसे विवरण के साथ एप्लीकेशन भर रहा है. हमारे प्रतिनिधि एप्लीकेशन प्रोसेस के साथ आगे बढ़ने के लिए आपसे संपर्क करेंगे.

चरण 2 डॉक्यूमेंट इकट्ठे करना
आवश्यक डॉक्यूमेंट* प्राप्त करने के लिए हमारा प्रतिनिधि आपके घर पर आएगा, जिसमें शामिल हैं:

  • केवाईसी डॉक्यूमेंट - पासपोर्ट, ड्राइविंग लाइसेंस, आधार कार्ड, वोटर आईडी कार्ड (कोई भी एक)
  • आपका कर्मचारी ID कार्ड
  • पिछले 2 महीनों की सेलरी स्लिप
  • पिछले 3 महीने (वेतनभोगी) / 6 महीने (स्व-व्यवसायी) के बैंक अकाउंट स्टेटमेंट
  • न्यूनतम 5 वर्षों के बिज़नेस के प्रमाण का डॉक्यूमेंट (बिज़नेसमेन/स्व-व्यवसायी व्यक्तियों के लिए)
  • मॉरगेज़ की जाने वाली प्रॉपर्टी के डॉक्यूमेंट

*कृपया ध्यान दें कि बताई फाइनेंस कितने प्रकार का होता है गई डॉक्यूमेंट लिस्ट सांकेतिक है. लोन प्रोसेसिंग के दौरान अतिरिक्त डॉक्यूमेंट की ज़रूरत पड़ सकती है.

चरण 3 डॉक्यूमेंट प्रोसेसिंग और सत्यापन
लेंडर आपके डॉक्यूमेंट को प्रोसेस और प्रमाणित करेगा. वे आपके रोजगार या व्यवसाय की पुष्टि करने के लिए आपके कार्यस्थल या संबंधित संगठन से संपर्क कर सकते हैं.

इस चरण में, वे आपके सिबिल स्कोर और क्रेडिट रिपोर्ट की जांच द्वारा आपकी क्रेडिट जांच भी करेंगे. आपकी लोन एप्लीकेशन तभी अगले चरण में जाएगी, जब सभी डॉक्यूमेंट क्रम में हों, और आपका CIBIL स्कोर और क्रेडिट रिपोर्ट संतोषजनक हो.

चरण 4 स्वीकृति लेटर
उपरोक्त चरणों को पूरा करने के बाद आपको एक स्वीकृति लेटर प्राप्त होगा. स्वीकृति लेटर में आमतौर पर निम्न जानकारी शामिल होती है:

  • लोन की राशि
  • ब्याज दर
  • ब्याज़ दर, फिक्स्ड या वेरिएबल का प्रकार
  • पुनर्भुगतान अवधि

स्वीकृति लेटर में आपके लोन के अन्य नियम, शर्तें और पॉलिसी भी शामिल हो सकते हैं. आपको इस लेटर की एक कॉपी पर हस्ताक्षर करना होगा और इसे लेंडर को उनके ऑफर को स्वीकार करने के लिए भेजना होगा.

चरण 5 सुरक्षा फीस का भुगतान
स्वीकृति लेटर पर हस्ताक्षर करने के बाद आपको एक बार लगने वाला सुरक्षा फीस का भुगतान करना होगा. लेंडर आपसे पहले ही इस शुल्क का भुगतान करने के लिए कह सकता है.

चरण 6 कानूनी और टेक्निकल जानकारी चेक करना
लेंडर लोन डिस्बर्स करने से पहले कानूनी और तकनीकी जानकारी चेक करेगा. वे निरीक्षण के लिए प्रॉपर्टी साइट पर प्रतिनिधि भेजेंगे.

चरण 7. लोन एग्रीमेंट और डिस्बर्सल
आपको मूल एग्रीमेंट लेटर, लेंडर की तरफ से पूरी जांच-पड़ताल हो जाने के बाद प्राप्त होगा. अंत में, शर्तों के अनुसार आपकी होम लोन राशि डिस्बर्स हो जाएगी.

भारत में कितने प्रकार के लोन दिए जाते है.. जानिये | Loan type in India in Hindi

Loan type in India in Hindi

भारत में कितने प्रकार के लोन दिए जाते है.. जानिये (Loan type in India in Hindi )

आज हम इस आर्टिकल में जानेंगे की, भारत में कितने प्रकार के लोन दिए जाते है एवं उससे जुडी कुछ आवश्यक जानकारी इन हिंदी। Loan type in India in Hindi ! How many types of loans are given in India.

भारत में लगभग 10 – 12 प्रकार के लोन दिए जाते है, लेकिन सभी Loans की प्रक्रिया एवं सभी Bank की लोन देने की प्रक्रिया अलग अलग है। सभी बैंकों के ब्याज दर एवं Terms and Conditions भी अलग अलग है। भारत में बैंकों के आलावा कई Finance services भी है जो बैंकों की तरह लोन देते है। लेकिन इन फाइनांस सर्विसेस का Rate of interest बैंकों से थोडा अधिक होता है, इन Finance companies से बिना पूंजी रखे लोन नहीं मिलता है। अगर आपको इन Finance services से लोन लेना है तो कुछ ना कुछ Security के तौर पर गिरवी रखना होगा, जैसे गोल्ड या प्रॉपर्टी आदि।

भारत में लोन के प्रकार (Types of Loans in India )

  • Read : PF Loan कैसे ले – पीएफ लोन लेने के लिए क्या करे
  • Read : Personal loan इस तरह मिलेगा
  • Read : शेयर पर लोन कैसे ले
  • Read : प्रॉपर्टी पर लोन कैसे ले
  • Read : जीवन बीमा पॉलिसी पर लोन कैसे ले
  • Read : FD Loan कैसे ले
  • Read : Business loan कैसे ले
  • Read : Education Loan कैसे ले
  • Read : Gold loan कैसे ले
  • Read : वाहन लोन कैसे ले
  • Read : Home Loan कैसे ले
  • Read : प्रोजेक्ट लोन कैसे ले
  • Read : कॉर्पोरेट लोन कैसे ले
  • Read : Marksheet Loan कैसे प्राप्त करे

लगभग सभी लोगों को Loans की आवश्यकता होती है, लेकिन सभी लोग बैंक लोन नहीं ले पाते है, इसकी वजह लोगों को Bank के नियम मालुम न होना या फिर लोन प्राप्त करने के लिए अधुरा प्रयास करना हो सकता है। क्योंकि Bank से Loan प्राप्त करना ज्यादा मुस्किल भी नहीं है। कई लोगों को बड़े ही आसानी से लोन मिल जाता है, क्योंकि वह बैंक के Terms and conditions फॉलो करते है।

आज हम यहाँ पर विभिन्न Loans के बारे बात करेंगे जिनकी सूची ऊपर दी हुई है। हम आज यहाँ पर 11 फाइनेंस कितने प्रकार का होता है तरह के लोन के बारे में बात करेंगे, जो हर लोन आवेदक को जानना जरुरी है। क्योंकि कई लोग Loan नहीं मिल सकता यह सोच कर ही अपनी आवश्यक जरूरतों को अनदेखा कर लेते है, उन्हें यहाँ से काफी आवश्यक जानकारी प्राप्त हो सकती है।

1. पर्सनल लोन (Personal Loan )

यह लोन आप अपनी पर्सनल जरूरतों को पूरा करने के लिए ले सकते है, जैसे शादी के खर्चो के लिए, घुमने फिरने के लिए, मेडिकल फीस के लिए, घर का खर्चा मैनेज करने के लिए आदि। लेकिन ध्यान रहे.. इस लोन पर बैंक के ब्याज दर अधिक होते है, इस लोन को आपातकालीन स्थिति में ले – अधिक पढ़े

2. गोल्ड लोन (Gold Loan )

यह लोन आप अपना गोल्ड गिरवी रखकर ले सकते है, कई लोग इस लोन का उपयोग करते है, क्योंकि इस लोन में ब्याज दर बहुत कम होता है, इसलिए यह लोन लेना पुराता भी है। बैंक के अलावा कई फाइनांस कंपनियां भी गोल्ड पर लोन देते है – अधिक पढ़े

3. प्रॉपर्टी लोन (Property Loan )

यह लोन आप अपनी प्रॉपर्टी गिरवी रखकर ले सकते है, अगर आप जल्द लोन प्राप्त करना है तो यह लोन आपके लिए बेहतर साबित होगा। इस लोन पर बैंक के ब्याज दर भी कम होते है, इसलिए कई सारे लोग इस लोन का इस्तेमाल करते है – अधिक पढ़े

4. होम लोन (Home Loan )

घर बनाने के लिए एवं घर खरीदने के यह लोन प्राप्त कर सकते है, यह लोन आसानी से नहीं मिलता लेकिन अगर आप बैंक के नियम व शर्ते फॉलो करते है तो यह लोन आपको मिलने में आसानी होगी। अगर आपके पास कोई पूंजी है, जैसे प्रॉपर्टी, गोल्ड, FD तो यह लोन भी आपको आसानी से मिल जाएगा – अधिक पढ़े

5. एजुकेशन लोन (Education Loan )

पढाई के लिए, पढाई का खर्चा मैनेज करने के लिए यह लोन लिया जाता है, लगभग सभी बैंक यह लोन देते है, लेकिन स्टूडेंट को यह लोन लेने के लिए किसी गारंटर की आवश्यकता होती है। गारंटर स्टूडेंट के पिता या उसका को रिस्तेदार हो सकता है – अधिक पढ़े

6. वाहन लोन (Vehicle Loan )

वाहन खरीदने के लिए यह लोन लिया जाता है, लगभग सभी बैंक यह लोन देते है। अगर आपके पास कोई पूंजी है तो यह लोन आपको आसानी से मिल सकता है, पूंजी का अर्थ.. जैसे प्रॉपर्टी, गोल्ड, FD आदि ! बैंक के अलावा यह लोन कई सारे फाइनांस सर्विसेस भी देते है – अधिक पढ़े

7. कॉर्पोरेट लोन (Corporate Loan )

यह लोन बड़े बड़े बिज़नेस मैंन लोग लेते है, जैसे.. विजय माल्या, अम्बानी ब्रदर, टाटा बिरला आदि। कंपनियों के आधार यह लोन मिलता है, जैसे कंपनी की बैलेंस शीट, कंपनी का टर्नओवर देखकर बैंक उन्हें लोन देती है और समय वसूल कर लेती है – अधिक पढ़े

8. शेयर लोन (Shares Loan )

यह लोन भी एक लोन का ही प्रकार है, यह लोन कॉर्पोरेट लोन की तरह ही है। बैंक कुछ ख़ास कम्पनियों के शेयरों पर भी लोन देता है। बैंक किन शेयरों लोन देगा किन पर नहीं यह बैंक ही तय करता है। लोन कितना मिल सकता है यह शेयर की कीमत और लोन चुकाने की क्षमता पर निर्भर करता है – अधिक पढ़े

9. प्रोजेक्ट लोन (Project Loan )

यह लोन भी एक लोन का ही प्रकार है, यह लोन आसानी से नहीं मिलता। भारत के लगभग बैंक यह लोन प्रोवाइड करते है, लेकिन किसी को इसकी अधिक जानकारी ना होने कारण लोग इस लोन के बारे में सोचते भी नहीं है। यह लोन आपके बनाये गए प्रोजेक्ट पर मिलता है – अधिक पढ़े

10. बिज़नेस लोन (Business loan )

बिज़नेस को आगे बढाने के लिए या फिर नया बिज़नेस शुरू करने के लिए यह लोन लिया जाता है। यह लोन प्राप्त करना आसान नहीं है, पर अगर आपके प्रॉपर्टी, गोल्ड या कोई एफडी है तो आपको यह लोन आसानी से मिल जाएगा – अधिक पढ़े

11. फिक्स्ड डिपॉजिट लोन (FD Loan )

यह लोन आपके किये गए फिक्स्ड दिपोझिट पर मिलता है, कई लोग यह लोन अधिक इस्तेमाल करते है, क्योंकि यह लोन आसानी से मिल जाता है। इस लोन पर ब्याज दर बहुत कम होता है। अगर आप इस लोन को इमरजेंसी में फाइनेंस कितने प्रकार का होता है लेना चाहते हो तो, ले सकते हो, क्योंकि यह लोन जल्द ही मिल जाता है – अधिक पढ़े

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मॉरगेज़ लोन की ब्याज़ दरें 2022

मॉरगेज़ लोन सेक्योर्ड लोन हैं जो पात्र एप्लीकेंट फाइनेंशियल इंस्टीट्यूशन के पास अपनी प्रॉपर्टी को कोलैटरल के रूप में रखकर प्राप्त कर सकता है. लेंडर स्व-व्यवसायी और वेतनभोगी, दोनों एप्लीकेंट के लिए आकर्षक ब्याज दरों पर मॉरगेज लोन प्रदान करते हैं.

उधारकर्ता 18 वर्ष तक की पुनर्भुगतान अवधि के साथ, मॉरगेज़ लोन के रूप में रु. 5 करोड़** का लाभ उठा सकते हैं.

उधारकर्ता की अधिकतम मॉरगेज लोन राशि के लिए पात्रता अन्य कारको के अलावा लेंडर द्वारा ऑफर किए गए लोन टू वैल्यू (एलटीवी) अनुपात पर निर्भर करती है. सर्वश्रेष्ठ लेंडर के साथ, एलटीवी प्रॉपर्टी की मार्केट वैल्यू के 70% से 75% के बीच हो सकती है.

मॉरगेज़ लोन लें और 3 दिनों* में बैंक में पैसे पाएं. कोई छिपे हुए शुल्क नहीं.

यहां मॉरगेज़ लोन की दरों और शुल्कों की लिस्ट दी गई है.

मॉरगेज लोन की ब्याज दर (फ्लोटिंग)

रोजगार का प्रकार

ब्याज दरें (प्रति वर्ष)


प्रॉपर्टी लोन पर लागू फीस और शुल्क

प्रॉपर्टी लोन पर शुल्क के प्रकार

मॉरगेज लोन प्रोसेसिंग शुल्क

प्रॉपर्टी पर लोन संबंधी स्टेटमेंट शुल्क

मॉरगेज लोन संबंधी ब्याज व मूल स्टेटमेंट के शुल्क

मॉरगेज़ EMI बाउंस शुल्क

2% तक प्रति माह और लागू टैक्स

मॉरगेज़ व्युत्पत्ति शुल्क*

रु. 4,999 तक + जीएसटी


मॉरगेज़ लोन के लिए फोरक्लोज़र शुल्क

उधारकर्ता का प्रकार: ब्याज़ का प्रकार समय (माह) फोरक्लोज़र शुल्क
व्यक्तिगत: फ्लोटिंग रेट >1 शून्य
गैर-व्यक्तिगत: फ्लोटिंग रेट >1 4% + लागू टैक्स
सभी उधारकर्ता: फिक्स्ड रेट >1 4% + लागू टैक्स


मॉरगेज़ लोन के लिए प्री-पेमेंट शुल्क

उधारकर्ता का प्रकार: ब्याज़ का प्रकार

पार्ट प्री-पेमेंट शुल्क

व्यक्तिगत: फ्लोटिंग रेट

गैर-व्यक्तिगत: फ्लोटिंग रेट

सभी उधारकर्ता: फिक्स्ड रेट


बजाज फिनसर्व आपको 3* दिनों के भीतर लोन राशि के डिस्बर्सल के साथ प्रॉपर्टी पर सबसे तेज़ लोन भी प्रदान करता है.

मॉरगेज़ लोन की ब्याज़ दर को प्रभावित करने वाले कारक

मॉरगेज़ लोन की ब्याज़ दर आमतौर पर उनकी सुरक्षित प्रकृति के कारण कम होती है. इसके परिणामस्वरूप, उधारकर्ता आसान पुनर्भुगतान और उधार लेने की कम लागत का लाभ उठाते हैं. कई कारक मॉरगेज़ लोन की ब्याज़ दरों को प्रभावित करते हैं, इनके बारे में अधिक जानने के लिए आगे पढ़ें.

1 प्रॉपर्टी का प्रकार और उसकी लोकेशन

कोई भी अचल संपत्ति प्रॉपर्टी पर लोन के लिए पात्र है और संपत्ति के प्रकार पर मॉरगेज लोन की ब्याज दरें निर्भर करती हैं.. जैसे, रेजिडेंशियल और कमर्शियल प्रॉपर्टी के लिए लेंडर अलग-अलग ब्याज़ दर प्रदान करते हैं. इसके अलावा, प्रॉपर्टी की रीसेल वैल्यू और उसकी लोकेशन भी इस ब्याज़ दर को भी प्रभावित करती हैं.

आमतौर पर, शहर के बीच स्थित आधुनिक सुविधाओं वाली किसी प्रॉपर्टी की रीसेल वैल्यू अधिक होती है. इसलिए, उस प्रॉपर्टी को मॉरगेज़ करते समय, लेंडर आपके डिफॉल्ट होने पर लोन राशि की रिकवरी का पता लगा सकते हैं. इसके कारण, ब्याज़ दरें कम होती हैं. इसी प्रकार, प्रॉपर्टी कितनी पुरानी है, यह भी मॉरगेज़ लोन की ब्याज़ दरों को प्रभावित करता है. प्रॉपर्टी जितनी नई होगी, ब्याज़ दरें उतनी ही कम होंगी.

2 क्रेडिट स्कोर

मॉरगेज़ लोन के लिए ब्याज़ दर निर्धारित करने से पहले लेंडर लोन लेने वाले की क्रेडिट प्रोफाइल पर भी विचार करते हैं. इस दर को प्रभावित करने वाले कुछ कारक नीचे दिए गए हैं.

  • क्रेडिट स्कोर
  • आय
  • रोजगार का प्रकार
  • उम्र
  • क्रेडिट उपयोग अनुपात
  • FOIR
  • मौजूदा कर्ज़

लेंडर से प्रतिस्पर्धी ब्याज दर प्राप्त करने के लिए 750 और उससे अधिक का क्रेडिट स्कोर उचित माना जाता है. इसी प्रकार, 55 वर्ष के वेतनभोगी एप्लीकेंट के लिए ब्याज दर अधिक होगी, क्योंकि वह जल्द ही नौकरी से रिटायर हो जाएगा/जाएगी.

इसके अलावा, लेंडर यह भी चेक करते हैं कि एप्लीकेंट ने पिछले लोन को सही तरह से चुकाया है या नहीं, समय पर भुगतान किया है या नहीं, आदि. ये सभी कारक सीधे क्रेडिट स्कोर को प्रभावित करते हैं, इसलिए स्कोर को बेहतर बनाए रखने के लिए अच्छी फाइनेंशियल आदतों को अपनाना आवश्यक है. इससे आप मार्केट में उपलब्ध सर्वश्रेष्ठ मॉरगेज़ लोन ब्याज़ दरों का लाभ उठा सकते हैं.

मॉरगेज़ लोन एक उच्च मूल्य वाला क्रेडिट है और आप प्रॉपर्टी पर 80% LTV तक का लाभ उठा सकते हैं. लेंडर के लिए उच्च मूल्य वाले लोन जोखिम भरे होते हैं, इसलिए इनकी मासिक किश्तों की राशि अधिक होती है. इसलिए, लोन देने के जोखिम की क्षतिपूर्ति करने के लिए, पर्याप्त लोन राशि के लिए वे अधिक मॉरगेज़ लोन ब्याज़ दर ले सकते हैं. इसलिए, प्रतिस्पर्धी ब्याज़ दरों को सुनिश्चित करने के लिए, अप्लाई करने से पहले उपयुक्त लोन राशि का आकलन करना आवश्यक है.

ध्यान दें: छोटे मॉरगेज़ लोन के लिए उच्च मूल्य वाले एसेट को गिरवी रखने से बचें.

मॉरगेज़ लोन की ब्याज़ दरों को निर्धारित करने में लोन की अवधि भी महत्वपूर्ण भूमिका निभाती है. आमतौर पर, मॉरगेज़ लोन की अवधि लंबी होती है, और आप अपनी पुनर्भुगतान क्षमता के अनुसार अवधि चुन सकते हैं. उच्च लोन मूल्य के लिए छोटी अवधि चुनने पर, लेंडर आपको जोखिम वाला उधारकर्ता मान सकते हैं. ऐसे मामलों में, ब्याज़ दर आमतौर पर अधिक होती है.

लंबी अवधि का विकल्प चुनने से आगे चलकर कुल ब्याज़ बढ़ सकता है. ऐसे मामले में, ऑनलाइन प्रॉपर्टी पर लोन EMI कैलकुलेटर का उपयोग करें और प्रस्तावित अवधि और ब्याज़ दर दर्ज़ करके भुगतान करने वाली EMI की राशि जानें.

इन कारणों के अलावा, अगर फ्लोटिंग ब्याज़ दर चुनी गई है, तो मार्केट में आने वाले उतार-चढ़ाव से भी मॉरगेज़ लोन की ब्याज़ दरें प्रभावित हो सकती हैं.

Finance क्या है? भारत की बेस्ट फाइनेंस कंपनियां कौन-सी है?

Finance

क्या आप जानते है कि Finance क्या हैं? अगर आप नही जानते है तो में इसके बारे में पूरी जानकारी देने वाला हूं। फाइनेंस कितने प्रकार के होते है? और भारत की प्रमुख फाइनेंस कंपनियां कौन-सी है?

फाइनेंस शब्द फ्रेंच भाषा से लिया गया है। इस शब्द का उपयोग 18 सदी के आरंभ में शुरू किया गया था। फाइनेंस को हिंदी भाषा में वित्त कहां जाता है।

Finance क्या हैं?

Table of Contents

फाइनेंस एक ऐसा जरिया है जिसके माध्यम से आप कोई कम करने या अपना खुद का नया बिजनेस शुरू करना चाहते है तो उसके पूंजी को सही इस्तेमाल कर सके। आज के समय में होने वाला खर्चा और भविष्य में होने वाले संभावित खर्च के लिए की गई बचत फाइनेंस मैनेजमेंट पर निर्भर करता है।

Finance कितने प्रकार के होते है?

फाइनेंस तीन प्रकार के होते हैं।।

Personal Finance:

इसके अंतर्गत उस वित्त को लिया जाता है जिसे व्यक्ति अपने परिवार के लिए एकत्रित करता है या अपने निजी रूप से इसका इस्तेमाल करता है यह वित्त पारिवारिक आय और बचत का माध्यम होता है जो परिवार की आवयश्कताओं पर निर्भर करता है यह वित्त निजी खर्च से लेकर बचत को प्रोत्साहन देता है।
इसलिए इसे निजो वित्त भी कहते हैं। यह परिवार के प्रमख का दायित्व है जिसे मुखिया के माध्यम से एकत्रित किया जाता है। यह बजट की भांति ही रहता है जो आवश्यकता के अनुसार ही लिया जाता है।

Coroprate Finance

इस वित्त का प्रयोग बड़ी बड़ी कम्पनियों में किया जाता है अर्थात यह वित्त बड़ी बड़ी कम्पनियों में पूंजी के रूप में किया जाता है जिससे पूंजी निर्माण अर्थात पूंजी सरंचना का कार्य किया जाता है यह वित्त बड़े बड़े पूंजीपतियों के माध्यम से कार्य मे लाया जाता है। इसके माध्यम से जो पूंजी तैयार की जाती है उसे कम्पनी अपने छोटे छोटे भागों में बांटती है जिसे शेयर कहते हैं। यह शेयर कारपोरेट वित्त को बढ़ावा देते हैं।
कॉरपोरेट वित्त का कार्य पूंजी विनियोजन से लेकर बैंकिंग विनियोजन तक का कार्य करता है।

Public Finance

ऐसा वित्त जो सरकार के आंकलन में अपनी आय व खर्च का प्रबंधन करता है तथा सरकार के माध्यम से या सरकार की निगरानी में रखा जा सकता है वह लोक वित्त कहलाता है इसे सर्वाजनिक वित्त भी कहते हैं। इसे सरकार राजस्व ओर अन्य सार्वजनिक माध्यम से एकत्रित करती है यह समस्त सार्वजनिक कार्यों के लिए एकत्रित किया जाता है जिसका मूल्यांकन सरकार के माध्यम से सम्पन्न होता है।

भारत में प्रमुख फाइनेंस कंपनियां कौन-सी है?

इस फाइनेंस में बैंक, NBFC company और Small Finance Bank आता है। तो चलिए जानते है कि वो कौनसी कंपनियां है:-

  1. Bajaj Finance Limited
  2. HDFC Finance
  3. LIC Housing Finance Limited
  4. Mahindra Financial Service Limited
  5. Muthoot Finance Limited
  6. TATA Capital Financial Service Limited
  7. HDB Finance Services
  8. Aditya Birla Finance Limited
  9. Kotak Mahindra Prime Limited
  10. Indian Railway Finance Corporation Limited
  11. L&T Infrastructure Finance Corporation Limited
  12. Shriram Transport Finance Company Limited
  13. Shriram City Union Finance Limited
  14. Rural Electrification Corporation Limited
  15. Cholamandalam Finance

Finance लेने के क्या फ़ायदे है?

Finance के कई फायदे हैं और आज के डिजिटल युग में लोगों में Online Finance का एक अलग ही क्रेज बढ़ रहा है। Finance के कुछ मुख्य फायदे इस आर्टिकल में हम आगे जान लेते हैं।

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